मोहम्मद सिराज की फील्डिंग गलती से हैरी ब्रूक को मिला दूसरा जीवन, ओवल में भारत का सीरीज जीतने का सपना टूटा

मोहम्मद सिराज की फील्डिंग गलती से हैरी ब्रूक को मिला दूसरा जीवन, ओवल में भारत का सीरीज जीतने का सपना टूटा

8 अगस्त, 2025 को लंदन के ओवल क्रिकेट मैदान पर भारत और इंग्लैंड के बीच खेले जा रहे पांचवें और अंतिम टेस्ट मैच के चौथे दिन, एक ऐसी गलती हुई जिसने पूरी सीरीज का रुख बदल दिया। मोहम्मद सिराज ने हैरी ब्रूक की गेंद को साफ़ पकड़ लिया, लेकिन अपने दाएं पैर के साथ बाउंड्री रोप को छू लिया। नतीजा? ब्रूक को आउट नहीं, बल्कि छह रन मिले। एक ऐसा पल जहां एक गलती ने इंग्लैंड को जीत की ओर धकेल दिया।

क्या हुआ था वो पल?

दोपहर के 11:32 बजे (UTC) इंग्लैंड के दूसरे इनिंग्स की 34वीं ओवर में, प्रसिध्द कृष्णा की गेंद पर ब्रूक ने एक टॉप-एड बुलेट लगाया। सिराज ने लंग लेग के कोने से गेंद को एक बार में पकड़ लिया — लग रहा था जैसे आउट हो गया। लेकिन उसके दाएं पैर का एक हिस्सा बाउंड्री रोप के नरम बेड पर आ गया। अंपायर ने तुरंत रन देने का फैसला किया। ब्रूक के बल्ले से 19 रन बन चुके थे। अब वो 25 बन गया।

सिराज की प्रतिक्रिया देखकर दिल टूट गया। उन्होंने अपने चेहरे को हाथ से ढक लिया, सिर झुकाया, और एक लंबी सांस ली। उनके पास खड़े वाशिंगटन सुंदर भी हैरान रह गए। ओवल के दर्शकों ने तुरंत तालियां बजानी शुरू कर दीं — इंग्लैंड के फैन्स ने उन्हें टीज़ करते हुए चिल्लाया, जैसे कोई बच्चा दूसरे को बुरी तरह फंसा दे।

रिकी पॉन्टिंग की आलोचना: "वो सोच रहा ही नहीं था!"

मैच के कमेंटेटर बैंक में रिकी पॉन्टिंग ने इस गलती को नहीं छोड़ा। उन्होंने टीवी कैमरे की ओर देखकर कहा: "What was he thinking? He wasn't thinking at all." — यानी, वो सोच रहा ही नहीं था। ये बयान न सिर्फ NDTV Sports ने रिपोर्ट किया, बल्कि यूट्यूब पर वायरल हो गया। पॉन्टिंग ने आगे कहा कि इतनी बड़ी गेम में इतनी बेसिक गलती करना बेहद अजीब है। इस तरह की गलती तो टी20 में भी नहीं होनी चाहिए।

सिराज के लिए ये एक बड़ा झटका था। अगले दिन, 2 अगस्त को, उन्होंने इंग्लैंड के खिलाफ पहला विकेट लिया था — ज़ाक क्रॉली को 14 रन पर आउट किया था। उनकी गेंदबाजी ने इंग्लैंड को डरा रखा था। लेकिन ये एक गलती ने सब कुछ बदल दिया।

हैरी ब्रूक ने कैसे फायदा उठाया?

ब्रूक के लिए ये एक बहुत बड़ा अवसर था। जैसे ही वो बल्लेबाजी करने लगा, उसका अंदाज़ बदल गया। वो बस अपने आप को बचाने के बजाय, बाकी दिन का बेहतरीन बल्लेबाज बन गया। उसने 111 रन बनाए — जिसमें 12 चौके और 3 छक्के शामिल थे।

उसने जो रूट (34) के साथ 195 रन की भागीदारी बनाई। ये जोड़ी इंग्लैंड के लिए एक ऐतिहासिक जीत की ओर ले गई। चौथे दिन के अंत तक इंग्लैंड का स्कोर 339/6 था — केवल 35 रन की दूरी पर। ओवल में कभी किसी टीम ने 374 रनों का पीछा नहीं किया था। अब वो लग रहा था जैसे इतिहास बदलने वाला है।

भारत की जीत का सपना टूट रहा था

भारत के लिए ये मैच सिर्फ एक जीत नहीं था। ये सीरीज की जीत थी। पहले चार मैचों में दोनों टीमें एक-एक मैच जीत चुकी थीं। इसलिए ये अंतिम टेस्ट फैसले वाला था। अगर भारत जीतता, तो सीरीज 2-1 से जीत जाता। अगर इंग्लैंड जीतता, तो वो पहली बार भारत के खिलाफ इंग्लैंड में टेस्ट सीरीज जीत लेता।

पहले दिन के अंत तक इंग्लैंड 50/1 पर था। चौथे दिन की शुरुआत में बेन डकेट (54) और ओली पोप (27) के आउट होने से भारत को उम्मीद थी। लेकिन ब्रूक के बच जाने के बाद सब कुछ बदल गया।

क्रिकेट विश्लेषक शशि शस्त्री ने इसे "हैरी ब्रूक ने ऋषभ पंत का रास्ता अपनाया" कहकर बयान दिया। यानी, एक बड़ी गलती के बाद वो बहुत जल्दी आक्रामक बन गया — जैसे पंत ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ किया था।

आखिरी दिन की चुनौती: बारिश और उम्मीद

5 अगस्त, 2025 को आखिरी दिन शुरू हुआ। भारत को चार विकेट चाहिए थे। लेकिन आसमान में बादल छाए थे। बारिश की संभावना बढ़ रही थी। अगर बारिश हो गई, तो मैच ड्रॉ हो सकता था — और सीरीज 1-1 से बराबर हो जाती।

ये मैच भारतीय क्रिकेट के लिए एक टर्निंग पॉइंट बन गया। सिराज की गलती को लेकर देश भर में बहस शुरू हो गई। कुछ लोग कह रहे थे कि ये एक अनजान गलती है, दूसरे कह रहे थे कि ये दबाव में बर्बर बन जाने का संकेत है। इंग्लैंड के लिए ये एक ऐतिहासिक जीत का रास्ता खुल गया।

मैच के बाद क्या हुआ?

आखिरी दिन बारिश ने मैच को बर्बाद कर दिया। इंग्लैंड ने अपना लक्ष्य पूरा नहीं किया, लेकिन वो अब भी बराबरी में रहे — सीरीज 1-1 से बराबर। भारत को इंग्लैंड में टेस्ट सीरीज जीतने का अवसर फिर से नहीं मिला।

सिराज को भारतीय टीम के बाहर भी बहुत सवाल पूछे गए। क्या वो दबाव में काम करने में कमजोर हैं? क्या उनकी फील्डिंग ट्रेनिंग कमजोर है? ये सवाल अब भी उनके नाम के साथ जुड़े हुए हैं।

अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

मोहम्मद सिराज की ये गलती किस तरह भारतीय क्रिकेट पर असर डाली?

यह गलती भारतीय क्रिकेट के लिए एक बड़ा झटका था, क्योंकि इसके बाद टीम ने बारिश के कारण सीरीज जीत नहीं पाई। इस घटना ने सिराज के दबाव में खेलने के तरीके पर सवाल उठाए। इसके बाद टीम ने उनकी फील्डिंग ट्रेनिंग पर जोर देना शुरू कर दिया।

हैरी ब्रूक के बच जाने के बाद उन्होंने कैसे अपनी बल्लेबाजी बदली?

ब्रूक ने अपनी बल्लेबाजी को बहुत आक्रामक बना दिया। उन्होंने अपने पहले 19 रनों के बाद अपने बल्ले को जोर से चलाना शुरू कर दिया। उन्होंने 111 रन बनाए, जिसमें 12 चौके और 3 छक्के शामिल थे। इस तरह उन्होंने दबाव को अपने पक्ष में बदल लिया।

ओवल में 374 रनों का पीछा करने वाली कोई टीम पहले कभी नहीं जीती — क्या ये असली आंकड़ा है?

हाँ, यह एक विश्वसनीय आंकड़ा है। ओवल में 1880 के बाद से अब तक कोई भी टीम 374 या उससे अधिक रनों का पीछा करके जीत नहीं पाई है। भारत के लिए यह एक बड़ी उपलब्धि होती, लेकिन ब्रूक के बच जाने के बाद यह असंभव लगने लगा।

रिकी पॉन्टिंग की आलोचना क्यों इतनी तीखी थी?

पॉन्टिंग एक ऐसे खिलाड़ी हैं जिन्होंने दबाव में भी शानदार फील्डिंग की थी। उनके लिए एक बेसिक गलती, खासकर टेस्ट मैच में, अनुचित लगती है। उन्होंने इसे बस गलती नहीं, बल्कि जिम्मेदारी का अभाव माना।

इस घटना के बाद भारतीय टीम ने क्या बदलाव किए?

टीम ने अगले दो महीनों में सभी फील्डर्स के लिए बाउंड्री रन और कैच लेने की ट्रेनिंग बढ़ा दी। सिराज को अलग से फील्डिंग कोच के साथ काम करना पड़ा। अब उनकी फील्डिंग में बहुत सुधार आया है।

क्या इस घटना ने सिराज के करियर पर स्थायी निशान छोड़ा?

हाँ। यह घटना अब भी टीवी और सोशल मीडिया पर रिप्ले होती है। लेकिन उन्होंने अपनी प्रतिक्रिया से दिखाया कि वो अपनी गलती से सीख रहे हैं। अब वो अपने खेल में और भी धैर्यवान हो गए हैं।